मी उत्तराखंडी छौ - एक सर्वे जै मा 90 लुखो न भाग लैयी। आप क वास्ता
1. खुशी ह्वाई कि 90 लुखो ने भाग लेई।
2. गढवाल कुमांऊ हमर उत्तराखंड की शान छन।
2. गढवाल कुमांऊ हमर उत्तराखंड की शान छन।
3. यू भि खुसि की बात कि बिंडि लोग अपणी भासा/बोलि क प्रयोग कर दिन।हिन्दी ज्यादा लोग बुलदिन (या मा हम लोग थोडा कोशिश करि सकदवा।
4. अच्छू लग कि अपणो व्यजनो क दगड लोग स्नेह रखदिन।
5. संस्कृति से भी काफी लोग परिचित छन।
4. अच्छू लग कि अपणो व्यजनो क दगड लोग स्नेह रखदिन।
5. संस्कृति से भी काफी लोग परिचित छन।
6. या भी खुसि क बात च कि लोग जणद छिन अर फिर भी सिखण चदिंना।
7. उत्तराखंड / भारत और अन्य देशो मे रेण वोल भी या मा शामिल ह्वेन।
8. काफी ज्यादा लोग उत्तराखंड समूह से जुड्या छन अर जुडन भी चाहण छन।
7. उत्तराखंड / भारत और अन्य देशो मे रेण वोल भी या मा शामिल ह्वेन।
8. काफी ज्यादा लोग उत्तराखंड समूह से जुड्या छन अर जुडन भी चाहण छन।
9. संस्कृति क दगड जुड्या खेला मेलो क तरफ भी ध्यान च।
10. खुशी ह्वाई कि बहुत से मित्र कुमाऊँनी/गढवली मा लिखण चाहंदिन। जू भी दगड्यो न हामी जतै सब्य़ु ते आमत्रण भेजियाली ये ब्लाग मा लिखण क वास्ता।
10. खुशी ह्वाई कि बहुत से मित्र कुमाऊँनी/गढवली मा लिखण चाहंदिन। जू भी दगड्यो न हामी जतै सब्य़ु ते आमत्रण भेजियाली ये ब्लाग मा लिखण क वास्ता।
शुक्रिया जु दगड्यो न भाग लेई अर वूं सबी मित्रो कु भी अब ये ब्लाग मा भी अपर योगदान दीणा कुण भी तैयार छन।
-प्रतिबिम्ब बड्थ्वाल, अबु धाबी, यूएई
(अपनी बोलि अर अपणी भाषा क दग्डी प्रेम करल्या त अपणी संस्कृति क दगड जुडना मा आसानी होली)
आप तैं गढ़वाली म्ह ल्योख्णूं दयेखी तैं बोत खुशी ह्वेई। आपकू ब्लॉग की फीड सबस्क्राइब कल्ली च। आगे भी पड़णा रोला आपतें।
जवाब देंहटाएंशुक्रिया..लेकिन मुश्किल या च कि अपणा लोग ज़रा कम ही दर्शन दीदिन इखमा। बाकि जगह सबी त फुरसत च पर इख आण मा या लिखण मा भारी औंसान आंदि....
जवाब देंहटाएंhhhhhhhhhhhhh
जवाब देंहटाएंBAHUT BADIYA SARWE CH YU.
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